नई दिल्ली। भारत सरकार ने बुधवार को पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया यानी PFI को 5 साल के लिए बैन कर दिया है। साथ ही PFI के अलावा 8 और संगठनों पर कार्रवाई की गई। गृह मंत्रालय ने इन संगठनों को बैन करने का नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है। इन सभी के खिलाफ टेरर लिंक के सबूत मिले हैं। केंद्र सरकार ने यह एक्शन (अनलॉफुल एक्टिविटी प्रिवेंशन एक्ट) UAPA के तहत लिया है।
PFI जुड़े इन संगठनों पर लगा प्रतिबंध
सरकार ने बैन लगाने की बताई वजह
केन्द्रीय जांच एजेंसियों ने दो राउंड में मारे थे ताबड़तोड़ छापे, अभी तक 356 हुई है गिरफ्तारियां
NIA, ED और राज्यों की पुलिस ने 22 और 27 सितंबर को PFI और उससे जुड़े संगठनों पर ताबड़तोड़ छापेमारी की थी। पहले राउंड की छापेमारी में 106 PFI से जुड़े लोग हिरासत में लिए गए थे। 27 सितंबर को दूसरे राउंड की छापेमारी में 250 PFI से जुड़े लोग गिरफ्तार/हिरासत में लिए गए थे। जांच एजेंसियों को PFI के खिलाफ पर्याप्त सबूत मिले थे। इसके बाद यह एक्शन लिया गया।
PFI 16 साल पहले बना, 23 राज्यों में फैली है जड़े
बता दे कि, साल 2006 में मनिथा नीति पसाराई (MNP) और नेशनल डेवलपमेंट फंड (NDF) नामक संगठन ने मिलकर पॉपुलर फ्रंट इंडिया (PFI) का गठन किया था। ये संगठन शुरुआत में दक्षिण भारत के राज्यों में ही सक्रिय था, लेकिन अब उत्तर प्रदेश-बिहार समेत 23 राज्यों में फैल अपनी पैठ बना चुका है।
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