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IT के शरण में सरकार, मॉनिटरिंग से लेकर फाइनेंस तक, शहर से गांव तक करेंगे इस्तेमाल, CM साय ने ये कहा

 Newsbaji  |  Jun 06, 2024 03:13 PM  | 
Last Updated : Jun 06, 2024 03:13 PM
छत्तीसगढ़ में आईटी के जरिए सुशासन लाने की पहल शुरू की गई है.
छत्तीसगढ़ में आईटी के जरिए सुशासन लाने की पहल शुरू की गई है.

रायपुर. छत्तीसगढ़ में विष्णुदेव की सरकार का IT उपयोग जनकल्याणकारी योजनाओं से लेकर वित्तीय प्रबंधन तक में करने जा रही है. इस संबंध में सीएम साय ने कहा कि आईटी के जरिए सुशासन की दिशा में सरकार काम करने जा रही है. इसका लाभ सभी वर्ग को और सरकार को होगा.

इसी कड़ी में सरकार ने प्रशासन को मजबूत और पारदर्शी बनाने के लिए अटल डैशबोर्ड की शुरुआत की है. यह मॉनिटरिंग टूल सरकारी योजनाओं की पहुंच बढ़ाने में मदद करेगा. आपको बता दें कि मुख्यमंत्री साय ने IIM रायपुर में विशेषज्ञों के साथ दो दिनों तक बौद्धिक परिचर्चा की थी. इसमें नागरिक सुविधा और मॉनिटरिंग के जरिए सुशासन के उपायों पर चर्चा की गई. वहीं अब उसके अनुरूप ही ये निर्णय लिया गया है.

IT सेक्टर का करेंगे विकास
रायपुर-भिलाई सहित आसपास के क्षेत्रों को स्टेट कैपिटल के रूप में विकसित कर विश्व स्तरीय IT सेक्टर तैयार करने का लक्ष्य है. IT उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिए 266 करोड़ का प्रावधान किया गया है.

ये नई योजनाएं और सेंटर

  • नवा रायपुर, अटल नगर: “लाईवलीहुड सेंटर ऑफ एक्सीलेंस” की स्थापना.
  • दुर्ग जिला: “सेंटर ऑफ एंटरप्रेन्योरशिप” की स्थापना.
  • स्टार्टअप्स को प्रोत्साहन: इन्यूबेशन सेंटर की स्थापना और IT पार्क की योजना.
  • 'प्लग एण्ड प्ले' मॉडल: नवा रायपुर में IT आधारित रोजगार सृजन के लिए.

नगरीय निकायों में E-Governance
प्रदेश के 168 नगरीय निकायों में E-Governance के तहत बजट और अकाउंटिंग मॉड्यूल स्थापित किए जाएंगे. 47 नगरीय निकायों में GIS आधारित सॉफ्टवेयर से प्रॉपर्टी सर्वे किया जाएगा.

IFMIS-2.0 की शुरुआत
शासकीय धन के आय-व्यय की दैनिक निगरानी के लिए एकीकृत वित्तीय प्रबंधन सूचना प्रणाली (IFMIS-2.0) प्रारंभ की जाएगी. वहीं पीएम वाणी के तहत हॉट-स्पॉट इंटरनेट के तहत प्रथम चरण में एक हजार ग्राम पंचायतों में वाई-फाई के माध्यम से हॉट-स्पॉट इंटरनेट सुविधा दी जाएगी.

वस्तु एवं सेवा कर सुधार

  • बिजनेस इंटेलिजेंस यूनिट: राज्य मुख्यालय में स्थापना.
  • अपीलीय मामलों का निराकरण: वस्तु एवं सेवा कर संबंधी अधिकरण की स्थापना.

भूमि संबंधी रिकॉर्ड का डिजिटलीकरण

  • NGDRS सॉफ्टवेयर: भूमि एवं भवनों का पंजीकरण.
  • जियो-रेफ्रेन्सिंग: भू-नक्शों का जियो-रेफ्रेन्सिंग और यू.एल.पिन नंबर के साथ भू-आधार कार्ड जारी.
  • ऑनलाइन प्रक्रिया: भूमि व्यपवर्तन की प्रक्रिया को ऑनलाइन और सरल बनाया जाएगा.

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